छत्तीसगढ कौशल न्युज सत्तू पटेल भाटापारा: - शहर के प्रमुख मार्गो पर जगह-जगह मलमा और गंदगी साथ ही शहर के नालियों से बदबू आना भाटापारा की पहचा...
छत्तीसगढ कौशल न्युज
सत्तू पटेल भाटापारा: - शहर के प्रमुख मार्गो पर जगह-जगह मलमा और गंदगी साथ ही शहर के नालियों से बदबू आना भाटापारा की पहचान बन गई है , और नगर पालिका के अधिकारी कुंभकर्णी नींद सोए हुए हैं । वही दुकानदारों के द्वारा छड़ एवं पत्थरों को सड़क तक फैलाकर आवागमन को खुले आम अवरुद्ध कर रहे है जहां से नगर पालिका के अधिकारी आंख बंद किये चुपचाप निकल जा रहे हैं जिस पर कार्यवाही नहीं करना नगर पालिका की कार्यशैली पर प्रश्न करता है ? नगर पालिका द्वारा रसूखदार लोगों पर कृपा दृष्टि बनाए रखना और कमजोर वर्गों पर कानूनी दाव पेंच की प्रक्रिया करने लगी है।ऐसा ही एक मामला शहर के नगर भवन स्थित पीछे के गली में तीन-चार सालों से कोर्ट के स्टे के बाद मकान कार्य बंद है एवं बिल्डिंग मटेरियल के समान गिट्टी आदि रखे हुए हैं , जिसे मकान मालिक वर्षों से रखवाली करते बैठे हैं । जिसे लेकर मुख्य नगर पालिका अधिकारी जफर खान द्वारा शहर थाने में एफआईआर करने पूरे स्टाफ के साथ पहुंच गए । वही मामले के गंभीरता को समझते हुए शहर टी आई परिवेश तिवारी ने दोनों पक्षों को शांत कराया वरना मामला गंभीर हो सकता था।
इस मामले में जोहार छत्तीसगढ़ पार्टी के प्रदेश उपाध्यक्ष चंद्रकांत यदु ने बताया कि नगर पालिका अधिकारी जफर खान द्वारा बिना नोटिस दिए दो ट्रैक्टर गिट्टी को उठाकर जबरदस्ती ले गया है जो की गैर कानूनी है ।चंद्रकांत यादव ने आगे बताया कि कोर्ट के आदेश दिखाने के बाद भी नगर पालिका अधिकारी द्वारा जबरदस्ती थाने में एफआईआर करने की धमकी दी गई एवं पूरे स्टॉक के साथ शहर थाना पहुंच गए। चंद्रकांत यदु ने यह भी बताया कि नगर पालिका के द्वारा इस मामले में किसी भी प्रकार की कोई भी नोटिस नहीं दिया गया है जबकि मामला चार-पांच वर्ष पुराना है।
इस मामले में जानकारी लेने हेतु मुख्य नगर पालिका अधिकारी जफर खान को फोन किया पर रिंग जाने के बाद भी फोन उठाना उचित नहीं समझा वैसे भी फोन का जवाब नहीं देना उनकी आदत सी बन गई है । इसकी शिकायत शहर के एक पूर्व पार्षद द्वारा भी की गई थी । उसके बाद हमारे संवाददाता द्वारा नगर पालिका अधिकारी के ऑफिस जाकर इस मामले की जानकारी लेनी चाहिए लेकिन गोल-गोल जवाब देकर जो छापना है छाप दो एवं मेरे ऑफिस में दोबारा नहीं आने की धमकी दी गई । जिसकी जानकारी हमारे संवाददाता द्वारा तत्काल एसडीएम नितीन तिवारी को दिया गया , एसडीएम ने उनसे बात करता हूं कहते हुए मामला को शांत किया । नगर पालिका अधिकारी नगर का प्रमुख एवं एक जिम्मेदार अधिकारी होने के नाते आम जनता की समस्याओं को सुनना और उनका निराकरण करना दायित्व बनता है ।लेकिन उनके द्वारा समस्या का निराकरण करना तो दूर फोन उठाना भी उचित नहीं समझते हैं । इस मामले में उच्च अधिकारियों को ऐसे अधिकारियों पर जनता के हित में विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है।
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